शहीद की बेटी की ‘देशभक्ति’ पर दंगल

शहीद की बेटी को बलात्कार की धमकी देने के मामले में दिल्ली पुलिस ने केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी है. गुरमेहर को धमकाने वालों की पहचान हो रही है. लेकिन देशभक्ति को लेकर दंगल नहीं थम रहा.  अब अनुपम खेर और जावेद अख्तर भी इस दंगल में कूद पड़े हैं. अनुपम खेर ने कहा है, ‘’असहिष्णु गैंग वापस आ गया है, चेहरे वहीं हैं नारे बदल गए हैं.  सिर्फ अनुपम खेर ही नहीं इस बहस में गीतकार जावेद अख्तर ने भी अपनी बात रखी है. जावेद अख्तर ने गुरमेहर कौर की देशभक्ति पर सवाल उठाने वाली पहलवान बबिता फोगाट और योगेश्वर दत्त का नाम तो नहीं लिया लेकिन निशाने पर वही थे. जावेद अख्तर ने कहा, ”अगर कम पढ़े लिखे खिलाड़ी और पहलवान किसी शहीद की बेटी को ट्रॉल करते हैं तो समझ में आता है, लेकिन कुछ पढ़े-लिखे लोगों को क्या हो गया जावेद अख्तर की बात सामने आते ही पलटवार भी शुरू हो गया. बबिता ने जवाब दिया कि मैंने जब स्कूल देखा भी नहीं था तबसे भारत माता की जय बोल रही हूं. देशभक्ति किताबों से नहीं आती

अब बारी पहलवान योगेश्वर दत्त की थी, योगेश्वर दत्त ने लिखा कि जावेद अख्तर जी आपने कविता-कहानी की रचना की तो हमने भी कुछ कारनामे कर छोटा ही सही भारत के लिए विश्व पटल पर इतिहास रचा है. जावेद अख्तर को एक जवाब फिल्मकार मधुर भंडारकर की ओर से भी मिला. मधुर भंडारकर ने लिखा कि अभिव्यक्ति की आजादी से अशिक्षा का कोई लेना-देना नहीं है. मैं एक छठी फेल स्टूडेंट हूं, फिर भी कोई मुझे मेरी राय रखने से नहीं रोक सकता. देशभक्ति का सर्टिफिकेट बांटने की ये होड़ इसलिए मची है कि एक शहीद की बेटी ने भारत और पाकिस्तान के बीच शांति की अपील कर दी है.  शहीद की ये बेटी है गुरमेहर कौर.  वही गुरमेहर कौर जिसने दिल्ली यूनिवर्सिटी में मारपीट की घटना के बाद आरएसएस के छात्र संगठन पर सवाल उठाए थे. गुरमेहर के इसी बयान को लेकर हंगामा मच गया.  उसे देशद्रोही करार दिया जाने लगा और फेसबुक पर बलात्कार तक की धमकी दी गई, लेकिन शहीद की बेटी डरी नहीं डटी रही. गुरमेहर हर हमले का जवाब देती रही लेकिन उसका हौसला तब जवाब दे गया जब बड़ी हस्तियां भी इस विवाद में कूद पड़ीं. देशभक्ति का सर्टिफिकेट बांटने के लिए मची इस होड़ के बीच दिल्ली के लेडी श्रीराम कॉलेज में पढ़ने वाली शहीद की बेटी दिल्ली छोड़कर जा चुकी है. सवाल ये है कि गुरमेहर की गलती क्या थी ? क्या ये गलती थी कि उसने पाकिस्तान के साथ शांति की बात की थी.

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