उत्तराखण्डः सल्ट उपचुनाव में तीसरी बार सहानुभूति कार्ड खेलेगी भाजपा
देहरादून: बीजेपी ने सल्ट विधानसभा उपचुनाव के लिए कैंडिडेट की घोषणा कर दी है. विधायक सुरेंद्र सिंह जीना के निधन से खाली हुई इस सीट पर उनके बड़े भाई महेश जीना को पार्टी ने कैंडिडेट घोषित किया है. जीना 30 मार्च को नोमिनेशन फाइल करेंगे. सल्ट में महेश जीना को टिकट देकर बीजेपी सहानुभुति कार्ड का तीसरी बार दांव खेलेगी. इससे पहले बीजेपी विधायक मगन लाल शाह के निधन पर उनकी पत्नी मुन्नी देवी शाह और मंत्री प्रकाश पंत के निधन पर उनकी पत्नी चंद्रा पंत को चुनाव लड़वा चुकी है. इन दोनों ही उपचुनाव में बीजेपी को सहानुभूति कार्ड का फायदा मिला और वो जीत दर्ज कराने में सफल रही. लेकिन महेश जीना का मामला थोड़ा अलग है. महेश दिवंगत विधायक सुरेंद्र सिंह जीना के बड़े भाई हैं . क्या वो सहानुभूति जुटाने में कामयाब रह पाएंगे, ये देखना अहम होगा. ये उपचुनाव इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि इसे 2022 के विधानसभा चुनावों का लिटमस टेस्ट भी माना जा रहा है. बीजेपी में नवनियुक्त सीएम तीरथ सिंह रावत की परीक्षा भी है. बीजेपी यह उपचुनाव जीती तो तीरथ मजबूत होंगे, सीट गंवाई तो पार्टी से लेकर सरकार के लिए एक बड़ा झटका होगा.
बीजेपी के लिए यह उपचुनाव जीतना इसलिए भी चुनौती है क्योंकि विपक्षी कांग्रेस भी इस सीट पर अच्छा खासा दमखम रखती है. कांग्रेस भी इस सीट पर कमजोर नहीं है, क्योंकि पिछले चुनाव में मात्र 3000 के अंतर से हारी थी. 2017 के विधानसभा उपचुनाव में कांग्रेस नेत्री गंगा पंचोली को अंतिम समय में पार्टी ने टिकट दिया था. तब भी पंचोली ने बीजेपी को कड़ी टक्कर दी थी. उसके बाद से ही वे लगातार क्षेत्र में सक्रिय हैं. दूसरी ओर कोरोना काल में उत्तराखंड में सल्ट विधानसभा सीट का उपचुनाव पहला चुनाव है. इस चुनाव में वोटर्स को एक घंटे का एक्सट्रा टाइम मिलेगा. यानी कि आमतौर पर चुनाव में आठ बजे से शाम पांच बजे तक मतदान होता है, लेकिन सल्ट उपचुनाव में सात बजे से शाम पांच बजे तक वोटिंग होगी. चीफ इलेक्शन ऑफिसर सौजन्या के अनुसार ऐसा कोविड प्रोटोकाल का पालन कराने में लगने वाले समय को देखते हुए किया गया है. सौजन्या के अनुसार इलेक्शन कमीशन की अपनी सभी तैयारियां पूरी हो चुकी हैं. चुनाव आयोग के मुताबिक वोटर से सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराने के साथ ही मास्क और हैंड सैनेटाइजर का प्रयोग करने की अपील की गई है.
चीफ इलेक्शन ऑफिसर के अनुसार कोरोना काल में आयोग के पास बिहार चुनाव कराने का तजुर्बा है. इसलिए यहां भी चुनाव कराने में कोई दिक्कत नहीं होगी. सल्ट विधानसभा में कुल 95,240 मतदाता हैं जिनमें से 48,682 पुरुष और 46,559 महिला मतदाता हैं. पूरी विधानसभा में 136 पोलिंग स्टेशन बनाए गए हैं, जिनमें से 16 संवेदनशील और 7 पोलिंग स्टेशन अति संवेदनशील हैं. सल्ट में 31 मार्च को नामांकन पेपरों की स्कूटनी होगी और 3 अप्रैल तक कैंडिडेट अपना नाम वापस ले सकेंगे. 17 अप्रैल को वोटिंग के बाद 2 मई को काउंटिंग होगी.