मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना का सॉफ्टवेयर तैयार नहीं, अब 22 जून से होंगे युवाओं के रजिस्ट्रे्शन

मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना में रजिस्ट्रेशन की गुरुवार से शुरू होने वाली प्रक्रिया टल गई है। अब बेरोजगार युवा योजना का लाभ लेने के लिए 22 जून से रजिस्ट्रेशन करा सकेंगे। मुख्यमंत्री सीखो कमाओ योजना के लिए तकनीकी कौशल विकास विभाग सॉफ्टवेयर तैयार कर रहा है। अभी सॉफ्टवेयर तैयार नहीं हुआ है। अभी सॉफ्टेवयर की टेस्टिंग का काम भी बाकी है। इस वजह से विभाग ने गुरुवार से शुरू होने वाली युवाओं की रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया को टाल दिया है। अब इसके लिए नई तारीख तय की गई है। यदि सबकुछ ठीक रहा  तो युवा 22 जून से योजना के लिए रजिस्ट्रेशन करा सकेंगे। तकनीकी शिक्षा, कौशल विकास एवं रोजगार विभाग के प्रमुख सचिव मनु श्रीवास्तव ने बताया कि सॉफ्टवेयर पर बड़ी संख्या में युवा रजिस्ट्रेशन कराएंगे। ऐसे में किसी प्रकार की दिक्कत ना हो। इसलिए सॉफ्टवेयर की टेस्टिंग की जा रही है। 22 जून से युवाओं के लिए रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया शुरू की जाएगी।

7 हजार से ज्यादा कंपनियों ने कराया रजिस्ट्रेशन
मुख्यमंत्री सीखो कमाओ योजना में प्रदेश की कंपिनयों और संस्थाओं ने बढ़ी संख्या में भाग लिया है। जानकारी के अनुसार योजना में अब तक सात हजार कंपिनयों और संस्थाओं ने रजिस्ट्रेशन कराया है।  भोपाल जिले में 524 से अधिक कंपनियों ने रजिस्ट्रेशन करा लिया है। इन कंपनियों में भोपाल में लगभग 3 हजार नौकरियां कंपनियों द्वारा निकाली गई है।

18 से 29 वर्ष के युवा होंगे पात्र
मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना युवाएं के लिए स्वाभिमान और सम्मान का प्रतीक बनेगी। मुख्यमंत्री सीखो कमाओ योजना में 18 से लेकर 29 वर्ष तक के मध्यप्रदेश के निवासी युवा भाग ले सकेंगे। युवाओं को प्रशिक्षण के दौरान प्रत्येक माह निर्धारित स्टाइपेण्ड मिलेगा जोकि का 75% राज्य शासन की ओर से छात्र- प्रशिक्षणार्थी को DBT के माध्यम से भुगतान किया जाएगा। प्रतिष्ठान को निर्धारित न्यूनतम स्टाइपेण्ड की 25% राशि छात्र- प्रशिक्षणार्थी के बैंक खाते में जमा करना होगी। प्रतिष्ठान निर्धारित राशि से अधिक स्टाइपेण्ड देने के लिए स्वतंत्र होगा।

युवाओं को 8 से 10 हजार रूपए तक होगा स्टाइपेंड
योजना में 12 वीं या आईटीआई पास अथवा उच्च शिक्षित युवा भी लाभान्वित हो सकेंगे। योजना के अंतर्गत ट्रेनिंग के दौरान 5 वीं से 12 उत्तीर्ण युवाओं को 8000, आईटीआई पास को 8500, डिप्लोमा धारी को 9000, और स्नातक अथवा उच्च शिक्षित युवाओं को 10 हजार रुपये स्टाइपेंड के रूप में प्रतिमाह प्रतिमाह दिया जाएगा। योजना में प्रशिक्षण के लिए 703 कार्य-क्षेत्र चिन्हित किए गए हैं। इसमें विनिर्माण क्षेत्र, इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रिकल, मैकेनिकल, सिविल, प्रबंधन, मार्केटिंग, होटल मैनेजमेंट,  टूरिज्म, ट्रेवल,  अस्पताल,   रेलवे, आई.टी. सेक्टर, सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट, बैंकिंग, बीमा, लेखा, चार्टर्ड एकाउंटेंट और अन्य वित्तीय सेवाओं से जुड़े प्रतिष्ठानों को जोड़ा जाएगा। ऐसे बहत से कार्य भी निर्धारित किये गये है।

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